धीरे-धीरे भारत में भी पैर पसर रहा मंकीपाक्स, केंद्र ने सभी राज्य सरकारों को किया अलर्ट

नई दिल्ली । देश में कोरोना संक्रमण के बाद मंकीपाक्स के बढ़ते मामले डरा रहे हैं। करीब 75 देशों में फैल चुका मंकीपाक्स भारत में भी पैर पसार रहा है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के मुताबिक, मंकीपाक्स के अभी तक 16 हजार से ज्यादा मामले सामने आ चुके हैं। वहीं, भारत में इसके अब तक चार पुष्ट मामले सामने आ चुके हैं। इसके अलावा कुछ जगहों पर संदिग्ध मामले भी मिले हैं। मंकीपाक्स के बढ़ते मामलों को लेकर केंद्र अलर्ट मोड पर है। वहीं राज्य सरकारें भी लगातार नजर बनाए हुए हैं। कई राज्यों में इस लेकर अलर्ट जारी किया जा चुका है। हाल ही में दिल्ली में मंकीपाक्स का पहला मामला सामने आया था। फैसला लिया गया है कि मंकीपाक्स के लक्षणों के साथ दिल्ली पहुंचने वाले अंतरराष्ट्रीय यात्रियों को हवाईअड्डे से अस्पताल भेजा जाएगा। मरीजों के इलाज के लिए यहां 20 सदस्यीय विशेष टीम है। यूपी में भी मंकीपाक्स के संदिग्ध मामले मिले हैं। लिहाजा, सभी जिलों में कोविड अस्पतालों में 10 बेड मंकीपाक्स रोगियों के लिए आरक्षित कर दिए गए हैं। राज्य सरकार ने अलर्ट जारी कर संक्रमित मरीजों के संपर्क में आए लोगों का सर्विलांस और प्रबंधन पर जोर दिया जा रहा है।
झारखंड सरकार के स्वास्थ्य विभाग ने सभी जिलों को अलर्ट जारी कर दिया है। सिविल सर्जन को सदर अस्पतालों में आइसोलेशन वार्ड तैयार रखने को कहा गया है। जिलों में तेजी से आइसोलेशन वार्ड तैयार किए जा रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग ने सभी सिविल सर्जन को इसबारे में एडवाइजरी भी जारी की है। हरियाणा में भी स्वास्थ्य विभाग अलर्ट हो गया है। ओपीडी में चिकित्सकों को निर्देश जारी किए गए हैं कि अगर कोई संदिग्ध केस सामने आता है, तब उसकी जानकारी तुरंत सीनियर अधिकारियों को अवगत करवाएं। इसके साथ-साथ विदेशों से आने वाले लोगों पर खास नजर रखी जा रही है। बिहार के स्‍वास्‍थ्‍य मंत्री मंगल पांडेय ने बताया कि राज्य में स्वास्थ्य विभाग ने मंकीपाक्स संक्रमण को लेकर गाइडलाइन जारी की है। स्वास्थ्य विभाग ने लोगों से इस वायरस को लेकर सावधानी बरतने की अपील की है। बता दें कि पटना में मंकीपाक्स की संदिग्ध मरीज मिली है। महिला की ट्रैवल हिस्ट्री का पता नहीं चल सका है। स्वास्थ्य विभाग ने सभी स्वास्थ्य केंद्रों को मंकीपाक्स के लिए सतर्कता बरतने के लिए एडवाइजरी जारी कर दी है। जिसके तहत मंकी पॉक्स से प्रभावित देशों की यात्रा कर लौटने वालों पर कड़ी निगरानी रखी जाएगी।