पीसीबी के पूर्व अध्यक्ष शहरयार खान ने आईसीसी विवाद निपटान समिति द्वारा बीसीसीआई के खिलाफ पीसीबी के मुआवजे के दावा को खारिज किए जाने से हुए आर्थिक नुकसान के लिए उनके बाद अध्यक्ष बने नजम सेठी को जिम्मेदार ठहराया है। उनका यह बयान उस मामले के बाद आया है, जिसमें आईसीसी ने बीसीसीआई के खर्चे का केवल 60 प्रतिशत भुगतान ही पीसीबी (पीसीबी के दावे को खारिज करते हुए) को करने के लिए कहा है, क्योंकि वह मानता है कि पीसीबी ने वैध मसला उठाया था। शहरयार ने कहा, मैं हमेशा भारतीय बोर्ड के अधिकारियों से लगातार बातचीत के पक्ष में था। मैंने आईसीसी के आला हुक्मरानों से भी बात की थी। सेठी अध्यक्ष बनने के बाद आईसीसी समिति के सामने दावा ठोकना चाहते थे और उन्हें इसकी मंजूरी भी मिल गई।’
उन्होंने कहा, बोर्ड को जो भी आर्थिक नुकसान हुआ है, उसके लिए सेठी जिम्मेदार हैं। नजम सेठी पिछले साल अगस्त में पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के अध्यक्ष बने। आईसीसी विवाद निपटान समिति ने पाकिस्तान को निर्देश दिया कि वह बीसीसीआई को 12 लाख डॉलर का भुगतान करे। आईसीसी ने दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय सीरीज नहीं होने पर भारत के खिलाफ पीसीबी के मुआवजे के दावे को खारिज कर दिया था। सेठी ने अपना पल्ला झाड़ते हुए ट्विटर पर लिखा कि गवर्नर्स बोर्ड ने मुआवजे का दावा ठोकने को मंजूरी दी थी। शहरयार ने हालांकि कहा कि सेठी ने उन्हें इस बात के लिए मनाया कि वे कानूनी खर्च का बजट पास करके यह मामला आईसीसी के सामने रखें। दरअसल, आईसीसी विवाद निवारण समिति ने बुधवार को पाकिस्तान को बीसीसीआई को लगभग 12 लाख डॉलर का भुगतान करने का आदेश दिया था। आईसीसी ने इससे पहले पीसीबी के मुआवजे दावे को नामंजूर कर दिया था। पीसीबी ने अपने दावे में भारत पर दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय सीरीज के समझौते का सम्मान नहीं करने का आरोप लगाया था।
आशीष/22 दिंसबर 2018