(इंदौर) इंदौर स्मार्ट सिटी या डॉग सिटी ? 

इंदौर, ७ दिसंबर (ईएमएस)। इंदौर स्मार्ट सिटी है या डॉग सिटी, जहां आवारा कुत्तों की संख्या में भारी इजाफा हो रहा है।
नगर निगम ने लगातार स्वच्छता में दो बार बाजी मारी है। पूरे देश में सफाई के मामले में यह सिरमौर है। निगमायुक्त रहते हुए मनीषसिंह ने शहर को आवारा पशुओं के तंज से मुक्ति दिलाई। शहर से सारे आवारा जानवर गायब कर दिए गए। अब कहीं सड़क पर गाय नजर नहीं आती और न ही सूअर के अलावा कचरा पेटी नजर आती है लेकिन शहर इन दिनों आवारा कुत्तों की समस्या से पूरी तरह से ग्रसित हो गया है। जिधर नजर मारो, उधर ही आवारा कुत्तों के झुंड नजर आते हैं। सूरज के ढलते ही न जाने क्यों ये कुत्ते आक्रामक हो जाते हैं, हर आने-जाने वाले के पीछे दूर तक दौड़ते हैं और कार को देखकर तो शायद इनका ब्लडप्रेशर ही बढ़ जाता है और ये कार के पीछे आधा-आधा किमी तक दौड़ जाते हैं। कार वाला तो सुरक्षित रहता है लेकिन जब ये दोपहिया वाहनों के पीछे दौड़ते हैं तो वह खुद को संभाल नहीं पाता और दुर्घटना का शिकार हो जाता है। १० दिन पहले कांग्रेस नेता देवेंद्रसिंह यादव ऐसे ही हादसे के शिकार हो गए और हड्डियां तुड़वाकर अस्पताल पहुंच गए। नगर निगम बार-बार कहता है कि वह कुत्तों की नसबंदी कर रहा है। नसबंदी भी दिखावे की हो रही है हजारों कुत्तों में से चंद कुत्तों की नसबंदी करने से समस्या से मुक्ति नहीं मिल सकती।
(उमेश/अर्चना पारखी)