अगस्त 2018 में संयुक्त राष्ट्र के मानवाधिकार पैनल ने एक सनसनी खेज रिपोर्ट जारी की थी, जिसके मुताबिक चीन ने शिनजियांग प्रांत में ऐसे खुफिया कैंप बना रखे हैं, जहां 10 लाख से ज्यादा मुसलमानों को बंधक बनाकर रखा गया है। उनकी धार्मिक आजादी छीन ली गई है और उन्हें मजब ही कामों से दूर रहने की सीख दी जा रहीहै. लेकिन इस खबर के सामने आने के बावजूद किसी इस्लामिक देश ने चीन के खिलाफ आवाज नहीं उठाई
न्यूज़18 इंडिया की एक खास रिपोर्ट के अनुसार चीन में मुसलमानों पर हो रहे जुल्म को लेकर दुनिया के वो तमाम देश चुप्पी साधे हुए हैं जो इजरायल, अमेरिका और भारत को कोसते रहते हैं
दरअसल, चीन में मुसलमानों का उइगर समुदाय शिनजियांग प्रांत में रहता है। यहां तकरीबन 90 लाख उइगर मुसलमान रहते हैं, ये लोग खुद कोतुर्की के मुसलमानों का वंशज मानते हैं, इनकी मूल भाषा भी तुर्की ही है। पिछले कुछ सालों में चीन की शीजिनपिंग सरकार ने इन लोगों पर तरह-तरह की पाबंदियां थोपनी शुरू कर दी है लेकिन तुर्की समेत दुनिया का कोई इस्लामिक देशवीगर समुदाय पर हो रहे अत्याचार पर कुछ नहीं बोल रहा।
चीन का शिनजियांग तिब्बत की तरह ही स्वायत्त क्षेत्र है। बीसवीं शताब्दी के शुरुआती दिनों में उइगरों ने कुछ वक्त के लिए खुद को आजाद घोषित कर दिया था, लेकिन 1949 में चीन की कम्युनिस्ट सरकार ने इस पर पूरी तरह नियंत्रण हासिल कर लिया, उसके बादल बेवक्त तक चीनी सरकार और उइगर मुसलमानों का संघर्ष चलता रहा। और अब हालत ये है कि शिनजियांग प्रांत में लोगों को धार्मिक विचार छोड़कर नई पहचान अपनाने के लिए मजबूर किया जा रहा है।