देश की राजधानी के एटीएम में बरती जा रही लापरवाही, लुटेरों की हो रही बल्ले-बल्ले

-कई में नहीं लगे हैं कैमरे, ना ही सुरक्षा गार्ड हैं तैनात, पुलिस ने किया बैंकों से अनुरोध
नई दिल्ली । राजधानी में मेवात के लुटेरे पिछले कई सालों से एटीएम को निशाना बना रहे हैं। इस तहर की घटनाएं हर साल सर्दियों में ही ज्यादा हुई हैं, जिसे देखते हुए दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच के एक सर्वेक्षण में इन एटीएम में सुरक्षा में चूक की हकीकत सामने आई। दिल्ली में अलग-अलग बैंकों के 5,452 एटीएम हैं।
सर्वेक्षण में पाया कि उनमें 918 एटीएम के अंदर और बाहर सीसीटीवी कैमरे ही नहीं लगे हैं। ऐसे में एटीएम को तोड़कर लुटेरे नकदी चोरी कर फरार हो जाएं तब अपराधियों की पहचान करना व उन्हें पकड़ना मुश्किल हो सकता है। इसके अलावा भी कई एटीएम कियोस्क में बुनियादी सुरक्षा सुविधाओं का अभाव मिला। इस संबंध में क्राइम ब्रांच ने रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया को पत्र लिखकर बैंकों को एटीएम की सुरक्षा चाक चौबंद करने के सख्त निर्देश जारी करने का अनुरोध किया है। साथ ही जहां सुरक्षा खामियां पाई गई उन्हें भी चेतावनी दी गई है।
पुलिस का कहना है कि एटीएम में डाले गए पैसों का बीमा होता है इसी कारण बैंकों के मैनेजर सुरक्षा मानकों पर ध्यान नहीं देते हैं वे इसमें लापरवाही बरतते हैं। एटीएम में चोरी की घटनाएं हो जाने पर लचर सुरक्षा व्यवस्था को लेकर पुलिस पर सवाल उठाए जाते हैं। एडिशनल पुलिस कमिश्नर क्राइम ब्रांच के मुताबिक सर्वेक्षण में 2,053 एटीएम ऐसे पाए गए, जिनके बाहर सुरक्षा गार्ड तैनात नहीं थे, जो एटीएम सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण है। इतना ही नहीं 2,765 एटीएम में शटर लॉक नहीं थे और 218 एटीएम के अंदर मशीनें बिना शटर के चल रही थीं।
इस तरह की चूक उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा को भी खतरे में डालती हैं। पुलिस का कहना है कि सुरक्षा खामियां पाए जाने पर उन्होंने बैंकों से एटीएम पर सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाने को कहा है। वहां सुरक्षा गार्डों की तैनाती, बेहतर रोशनी की व्यवस्था और हर एटीएम में सीसीटीवी कैमरे लगाने के लिए कहा गया है। पुलिस ने बैंकों को एक ऐसी प्रणाली विकसित करने को कहा है कि जिससे एटीएम को चोरों व लुटेरों द्वारा निशाना बनाने पर संबंधित इलाके के थानों में अलार्म बज जाए, जिससे बीट ऑफिसर जल्द मौके पर पहुंच सके।