मुर्दा बनकर सुनी कथा

शीई-शीई करते-करते मास्टर संतोष ने व्हाट्सएप का शटर खोला। व्हाट्सएप का शटर खोलते ही एक से बढ़कर एक कार्यालय आदेश फोन से झरने लगे। देखते ही देखते संतोष जी को कई आदेशों ने जकड़ लिया। वे आदेशों से लथपथ थे। कोई आदेश उन्हें स्कूली छात्रों के कपड़े धोने के संदर्भ में था, तो कोई विद्यालय में उगाई जाने वाली सब्जियों से खरपतवार अलग करने का। कोई आदेश गांव की बकरियां गिनने का था, तो किसी आदेश में मास्टर जी की ड्यूटी राशन की दुकान पर लाइनें बनवाने के संबंध में थी। किसी आदेश में संतोष जी को बाल विवाह के विरुद्ध किसी शादी की जांच करनी थी, तो किसी आदेश में उन्हें सब्जी मंडी में पड़ी बेकार सब्जियों की आवक रोकने संबंधी कार्य करना था। एक आदेश जिला प्रशासन की तरफ से मास्टर जी के सामने आया। आज उनकी ड्यूटी पास के ही श्मशान घाट में मुर्दों के बेहतर प्रबंधन के लिए लगी थी। 

मास्टर संतोष को वरिष्ठ श्मशान अधिकारी के रूप में अपना कर्तव्य निर्वहन करना था। इस सरकारी आदेश के असरकारी ढंग से निर्वहन करने के लिए मास्टर जी को प्ले स्टोर पर जाकर ‘एक्टिव क्रिमिनेशन’ का एक ऐप डाउनलोड करना था। मास्टर जी ने अपनी मोटरसाइकिल स्टार्ट की और प्ले स्टोर पर जाकर यह ऐप डाउनलोड किया। इस ऐप में मुर्दे के बाद उसके घर-परिवार एवं मुर्दे स्वयं पर लागू किए जाने वाले सरकारी फरमानों की एक प्रबंधन प्रक्रिया थी। मास्टर जी को जिला शिक्षा अधिकारी द्वारा भी इस आदेश की पालना सुनिश्चित करने के लिए और कई-कई ग्रुपों में कई-कई बार आदेश मिल चुके थे। संतोष जी ने कल ही श्मशान में ड्यूटी देने वाले शिक्षक सुरेंद्र सिंह से संपर्क किया। सुरेंद्र सिंह ने तसल्ली बताते हुए कहा- कुछ नहीं है यार! प्ले स्टोर से ये ऐप डाउनलोड कर लेना और घर बैठे मुर्दे का हिसाब-किताब चेप देना। मास्टर संतोष को सुरेंद्र सिंह के इस वक्तव्य में असंतोष दिखाई दिया। उन्हें तो घटनास्थल पर जाकर असल श्मशान अधिकारी की ड्यूटी करना ही भाया। तत्काल उन्होंने मास्टर हेमंत को फोन लगाया। हेमंत क्षेत्र के जाने-माने मास्टर थे, जो ऐसे कामों के विशेषज्ञ रूप में पर्याप्त ख्याति अर्जित कर चुके थे। उन्होंने विस्तार से समझाया।

देखिए संतोष जी! इस कार्य में पूरी शासकीय मशीनरी लगी हुई है। श्मशान में प्रवेश करते ही आपको सबसे पहले मुर्दे की गहरी जांच करनी पड़ेगी। मुर्दा अगर पुरुष है तो उसके बाएं हाथ पर लाल निशान लगाना पड़ेगा और अगर महिला हुई तो उसके दाहिने हाथ पर हरा निशान लगाना पड़ेगा। अगर संबंधित मुर्दों के हाथ नहीं हो, तो यही रूल्स उनके पैरों पर लागू होंगे। मान लिया कोई महिला अथवा पुरुष न होकर थर्ड जेंडर हो तो उसके माथे पर दो लाल आड़ी लाईनें खींचनी पड़ेगी। इसी समय आपके मोबाइल नंबर पर पहले से प्ले स्टोर में डाउनलोड किए गए ऐप पर मुर्दे की गूगल लोकेशन वाली फोटो अपलोड करनी पड़ेगी। जैसे ही फोटो अपलोड की जाएगी मुर्दे के आधार नंबर से ऑटो क्रीमिटेशन एक्टिवेट हो जाएगा। आपको मुर्दे की लंबाई-चौड़ाई नाप कर उसके फिटिंग का कफन देना होगा। मुर्दे को तोलकर 1अनुपात 6 के अनुपात में लकड़ी देनी होगी। हेमंत जी बता रहे थे और मास्टर संतोष जी जाने कब से मुर्दा रूप धरे सब कुछ बड़े ध्यान से सुन रहे थे।

— रामविलास जांगिड़,18, उत्तम नगर, घूघरा, अजमेर (305023) राजस्थान