महाशिवरात्रि पर जिले के मंदिरों में नजर आया आस्था का सैलाब

झाबुआ “ओम् शिव ओम् शिव परात्पराशिव ओम् कारा शिव तव शरणम्, नमामि शङ्कर भजामि शङ्कर उमा महेश्वर तव शरणम्” और “नमः शिवाय” पंचाक्षर महामंत्र की अद्भुत एवम रहस्यमय ध्वनि के बीच जिले के शिवालयों में
आस्था का अद्भुत एवं रोमांचकारी नज़ारा देखा गया, जिसने शासन की कथित गाइड लाइनों को दरकिनार कर दिया।

   जिला  स्थान से करीब 5 किलोमीटर दूर देवझिरी,  थान्दला जनपद के शिवगढ़ स्थित प्राचीन शिवालय सहित जिले में  पेटलावद और थांदला सहित अन्य स्थानों पर दैवी अहिल्या द्वारा स्थापित शिवालयों में आज प्रातः काल से ही  पूजा अर्चना एवं अभिषेक सहित अनुष्ठान आरम्भ हो गये थे, जो अब तक अनवरत रूप से जारी है। शिवालयों में एक तरफ बड़े सबेरे से ही रूद्राभिषेक की रहस्यमई ध्वनि गुंजायमान होने लगी थी,  वहीं पुष्पदंताचार्य विरचित श्री शिवमहिम्न: स्तोत्र की कर्ण प्रिय ध्वनि भी  गुंजायमान होती रही।  नमःशिवाय महामंत्र से दुग्धाभिषेक के द्वारा पूजा अर्चना के साथ ही महाशिवरात्रि पर्व पर जिला के शिव मंदिरों में भगवान शिवजी का आकर्षक श्रृंगार भी किया गया।  आचार्य गणों के अनुसार  महाशिवरात्रि के अवसर पर सुबह से आरम्भ हुए विभिन्न धार्मिक अनुष्ठान आज मध्यरात्रि तक चलेंगे।  इस अवसर पर एक और जहाँ जिले के अधिकांश मंदिरों पर अद्भुत तरीक़े से सजावट की गई, वही दूसरी और धार्मिक अनुष्ठान भी संपन्न हुए। जिले के मंदिरों पर प्रसादी के रूप में फरियाली खिचड़ी और भंग सहित अन्य प्रसादी  का भी वितरण पारम्परिक रूप से किया जाता रहा है, जो कि अभी जारी है।