-महिला मोर्चा ने सड़कों पर उतर संभाली कमान
पटना । बिहार विधानसभा चुनाव की सरगर्मी के बीच दरभंगा में वोटर अधिकार यात्रा के दौरान पीएम मोदी और उनकी मां को गाली देने का बीजेपी ने सियासी मुद्दा बना दिया है। इस मुद्दे को लेकर गुरुवार को एनडीए ने बिहार बंद का ऐलान किया है।
बीजेपी और एनडीए ने पीएम मोदी की मां के खिलाफ की गई आपत्तिजनक टिप्पणी को महिला अस्मिता से जोड़ा है। यही वजह है कि बीजेपी की महिला मोर्चा ने बिहार की सड़क पर फ्रंटफुट पर उतरकर महागठबंधन के खिलाफ माहौल बनाया है। बीजेपी की महिला मोर्चा के कार्यकर्ताओं के साथ एनडीए के बड़े नेता भी बिहार की अलग-अलग शहरों की सड़क पर उतरे और महागठबंधन को महिला विरोधी के कठघरे में खड़े करेंगे। इस तरह एनडीए की बिहार चुनाव से पहले गाली कांड को भावनात्मक मुद्दा बनाकर आरजेडी-कांग्रेस को घेरने की रणनीति बनाई है।
बता दें बिहार में राहुल गांधी वोटर लिस्ट में गड़बड़ी का मुद्दा बनाने के लिए वोटर अधिकार यात्रा निकाली थी। इस दौरान दरभंगा में कांग्रेस और आरजेडी के मंच से पीएम मोदी और उनकी मां के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की गई थी, जिसे लेकर बीजेपी ने मोर्चा खोल दिया है। मंगलवार को पीएम मोदी ने जीविका दीदी को संबोधित करते हुए कहा था कि मां के अपमान के लिए मैं एक बार कांग्रेस को क्षमा कर सकता हूं, बिहार की जनता कभी माफ नहीं करेगी। इतना ही नहीं पीएम मोदी ने इसे बिहार और देश की महिला अस्मिता का मुद्दा बना दिया। पीएम मोदी की मां पर अभद्र टिप्पणी करने को लेकर एनडीए ने बिहार बंद बुलाया है, जिसके लिए एक दिन पहले ही अखबारों में विज्ञापन दिया गया था, जिसमें लोगों से 4 सितंबर को बिहार बंद में स्वेच्छा से शामिल होने की भावुक अपील की गई। विज्ञापन में एक मां का फोटो और भड़कते हुए शख्स की फोटो भी लगाई गई है। इतना ही नहीं साफ-साफ शब्दों में लिखा गया कि पीएम मोदी की मां को कांग्रेस-आरजेडी के मंच से जिस प्रकार गाली दी गई है, उससे संपूर्ण बिहार को शर्मसार और कलंकित किया है।
बिहार बंद का नेतृत्व बीजेपी महिला मोर्चा कर रही है। इसकी सबसे बड़ी झलक पटना में दिखी, जहां बड़ी संख्या में महिला मोर्चा की कार्यकर्ता सड़कों पर उतरी। बीजेपी महिला मोर्चा की प्रदेश अध्यक्ष धर्मशिला गुप्ता के नेतृत्व में पटना के इनकम टैक्स गोलंबर से डाक बंगला चौराहे तक मार्च निकला गया। मार्च में महिला मोर्चा की कार्यकर्ताओं के साथ-साथ पार्टी के सभी बड़े नेता शामिल हुए।
बीजेपी नेता अनामिका पासवान ने कहा है कि महागठबंधन की संस्कृति ही गाली गलौज की है। वे लोग महिलाओं का सम्मान करना नहीं जानते हैं। हमारी लड़ाई तब तक जारी रहेगी, जब तक राहुल गांधी और तेजस्वी यादव माफी नहीं मांग लेते। इस तरह साफ है कि बीजेपी ने अपनी महिला ब्रिगेड को उतारकर कांग्रेस और आरजेडी के खिलाफ सियासी दांव चल दिया है।
बता दें बिहार की सियासत में महिला वोटर काफी अहम और निर्णायक रोल अदा करती हैं। 2020 के विधानसभा चुनाव में 243 में से 167 सीट पर महिलाओं ने पुरुषों से अधिक मतदान किया था। 2020 में पुरुषों का मतदान 54 फीसदी था जबकि महिलाओं का मतदान प्रतिशत 60 फीसदी था। वोटिंग पैटर्न देखें तो 41 फीसदी महिलाओं ने एनडीए गठबंधन को वोट दिया था और 31 फीसदी महागठबंधन को वोट दिया था। पीएम मोदी ने कहा था कि एनडीए की जीत में साइलेंट वोटर यानि महिलाओं का अहम रोल था। यही वजह है कि बीजेपी पीएम मोदी की मां पर की गई टिप्पणी को चुनावी मुद्दा बनाकर सियासी माहौल बनाने में जुट गई है।