तीन साल बाद शुरू हुई बाबा अमरनाथ की यात्रा, कड़ी सुरक्षा के बीच जम्मू से आज रवाना किया गया पहला जत्था

जम्मू । तीन साल बाद बुधवार को बाबा अमरनाथ यात्रा का पहला जत्था आज जम्मू से रवाना किया गया। इस बार बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने बाबा अमरनाथ के दर्शन के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है। जम्मू के शिविर में पूजा अर्चना के बाद उप-राज्यपाल मनोज सिन्हा ने यात्रा के पहले जत्थे को झंडी दिखाकर रवाना किया। बम-बम भोले’, ‘जय बाबा बर्फानी की’ जैसे कई जयकारों के साथ सैकड़ों उत्साही श्रद्धालु मंगलवार को आतंकी खतरों की आशंका के बावजूद अमरनाथ यात्रा के लिए जम्मू के आधार शिविर पहुंचे।
हमेशा की तरह इस बार भी श्रद्धालुओं में यात्रा को लेकर भारी उत्साह है। उत्तर प्रदेश से पहुंचे श्रद्धालुओं ने कहा कि वे पिछले 3 साल से यात्रा का इंतजार कर रहे थे और इस बार सभी लोग पहुंचे हैं। उन्होंने आगे कहा वे बाबा से देश में सुख शांति की कामना करेंगे। जम्मू में बाबा अमरनाथ यात्रा के आधार शिविर में सुरक्षा के कड़े प्रबंध किए गए हैं। पहला जत्था रवाना होने से पहले सभी सुरक्षाबलों ने आधार शिविर के भीतर सभी गाड़ियों की जांच की। अलग-अलग एजेंसियों ने कड़ी पूछताछ के बाद गाड़ियों को रवाना किया। आतंकी हमले के खतरे को देखते हुए इस बार अलर्ट जारी किया गया है और सुरक्षा कड़ी कर दी गई है। जम्मू से लेकर कश्मीर तक श्रद्धालु कड़ी सुरक्षा के बीच यात्रा के लिए पहुंचेंगे।
उप-राज्यपाल मनोज सिन्हा ने विधिवत रूप में बाबा अमरनाथ की यात्रा रवाना होने से पहले पूजा अर्चना की और फिर शिव के भक्त जनों के मंत्र उच्चारण के बाद यात्रा को रवाना किया गया। जम्मू के आधार शिविर में भारी संख्या में श्रद्धालु इस बार पहुंचे हुए हैं। यात्रा की शुरुआत 30 जून से परंपरागत दोहरे मार्ग से होगी। एक मार्ग दक्षिण कश्मीर के पहलगाम में 48 किलोमीटर लंबा नूनवान है। दूसरा मध्य कश्मीर के गांदरबल में 14 किलोमीटर लंबा बालटाल मार्ग है।
अधिकारियों ने कहा कि 3,000 से अधिक तीर्थयात्री जम्मू पहुंचे हैं और उन्हें आधार शिविर और विभिन्न आवास केंद्रों में रखा गया है, करीब 400 साधु भी यात्रा के लिए राम मंदिर शिविर आए हैं। साधु समेत श्रद्धालुओं का पहला जत्था यात्रा की आधिकारिक घोषणा के एक दिन पहले कश्मीर स्थित आधार शिविर के लिए रवाना होगा। यात्रा का समापन परंपरा के अनुरूप रक्षा बंधन के दिन 11 अगस्त को होगा,