नई दिल्ली । पीएम नरेंद्र मोदी आज यानी गुरुवार को पोलैंड यात्रा पूरी करने के बाद यूक्रेन जाएंगे। पीएम मोदी रूस-यूक्रेन युद्ध के बीच वहां जा रहे हैं। भारत हमेशा से युद्ध नहीं शांति की बात करता रहा है। चाहे वह इजरायल-हमास युद्ध ही क्यों ना हो। पीएम मोदी की यूक्रेन यात्रा से भी यही आस लगी है कि क्या मोदी यह युद्ध खत्म करने की कोशिश करेंगे।
बता दें कि पीएम मोदी ने इससे पहले इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से फोन पर बात की। दुनिया में युद्ध के बीच भारत शांति की अलख जगाने वाले देशों में सबसे आगे है। अब सवाल यह उठने लगा है कि क्या भारत दोनों जंग को खत्म करा देगा। इससे पहले पीएम मोदी ने 16 अगस्त को इजरायली पीएम बेंजामिन नेतन्याहू से फोन पर बात की थी। उन्होंने एक्स पर खुद ही इसकी जानकारी भी दी थी। नेतन्याहू के साथ बातचीत के दौरान पश्चिम एशिया की स्थिति पर चर्चा हुई। फोन पर बातचीत के दौरान सभी बंधकों की तत्काल रिहाई, युद्ध विराम और मानवीय सहायता की जरुरत पर जोर दिया गया।
गौरतलब है कि भारत कई वैश्विक मंचों पर युद्ध को बातचीत के जरिए हल करने की कोशिश करता रहा है। वहीं रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को अमेरिका भेजकर पीएम मोदी अमेरिका से लेकर पुतिन तक को साधना चाह रहे हैं। अमेरिका शुरू से ही रूस-यूक्रेन जंग में यूक्रेन के साथ और इजरायल-हमास जंग में इजरायल का साथ दे रहा है। ऐसे में भारत अमेरिका से लेकर रूस और इजरायल सबको साधना चाहता है। हालांकि भारत अपने शांति के संदेश के साथ खड़ा है।
बुधवार को पोलैंड यात्रा पर पीएम मोदी ने अपने भाषण में कहा कि भारत बुद्ध की विरासत का घर है…भारत युद्ध में नहीं शांति में यकीन रखता है और इसीलिए भारत इस क्षेत्र में भी शांति की वकालत करता है। भारत का रुख साफ है कि यह युद्ध का समय नहीं है। यह समय एकजुट होकर पूरी मानव जाति के लिए खतरा पैदा करने वाली चुनौतियों से लड़ने का है और इसीलिए भारत कूटनीति और संवाद पर जोर दे रहा है।
पीएम मोदी आज यानी 22 अगस्त को देर शाम स्पेशल ट्रेन से यूक्रेन की राजधानी कीव रवाना होंगे। पीएम मोदी करीब सात घंटे कीव में रहेंगे। इस दौरान पीएम मोदी यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की से मुलाकात करेंगे। उम्मीद की जा रही है कि भारत और यूक्रेन के बीच अहम रक्षा सौदों पर समझौते भी होंगे और युद्ध विराम पर भी चर्चा हो सकती है।